मीरा की बातें
![]() |
What is spirtuality? |
सोचती हूँ
छोड़ दूँ तुमसे बातें करना
यूँ इंतजार करना
रोक दूँ खुद को
आसमान तकने से
दुआओं में रहने से
बन जाऊँ मैं भी तुम्हारी तरह
निमोहिया तस्वीर, एक मूरत
क्यों नहीं मेरी ऐसी कुदरत
क्यों है तुम्हारी आदत
क्यों है ऐसी चाहत
![]() |
What is spirtuality? |
हे हरि !
फिर सोचती हूँ
तुमको भी तो आदत होगी
मेरी बक-बक सुनने की
शिकवा, प्यार और मनुहार की
मेरे चुप होने से
जरा-सा ही सही
तुम्हें कहीं दर्द न हो
संसार की उलझनों को निपटाना छोड़
तुम मेरी चिंता में शोकाकुल न होवो
ये भी
तो नहीं चाहती मैं
तुम्हें अपनी चिंता दूँ
तुम्हें इंतजार दूँ
कोई भी दर्द दूँ
इसलिए रोज सुबह निकलते ही
तुम्हारी सीढ़ियाँ चढ़ आती हूँ
तुम्हारे प्यार में
साँसों की माला फेर लेती हूँ
सारी जहाँ की बातें
तुम्हारी मूरत से कर लेती हूँ।
benefits of spiritual practices-
why people do spiritual practices
what are the benefits of spirituality
Comments
Post a Comment